Dar hindi kahani: कोरोना वायरस से उपजी छुआछूत की बीमारी से दुनिया भर के दिल दहलाने वालीं खबरों से परेशान होकर मैं रात को अपने कमरे में बैठा कुछ पढ़ने की कोशिश कर रहा था,कि बड़ा चूहा बिल से निकलकर कमरे में फिरने लगा, थोड़ी ही देर के बाद दूसरा चूहा जो शायद चूहा की चुहिया थी,वह भी उससे आ मिली। दोनों मेरे सम्मुख खेलने लगे और फिर लैम्प के समीप आ पहुंचे।उस समय मेरे पास एक प्याला रखा था, मैंने उसको उठाया और उसी से एक चूहे को ढंक दिया, चूहा उसमें कैद हो गया। चुहिया बार बार आकर प्याले को सूंघने लगी। मैंने चुहिया को बताया कि तुम्हारा चूहा लाक डाउन के चक्कर में कैद हो गया है,कर्फ्यू में उछल-कूद करना ठीक नहीं, हम लोगों को भी लाक डाउन में घूमने फिरने पर पुलिस डण्डा मारती है। पुलिस की पेंट के जेब में कुछ डाल दो तो छोड़ देती है। चुहिया ने बड़े ध्यान से सुना।

         कोरोना के चक्कर में पूरी दुनिया की आबादी लाक डाउन में थी, लम्बी ऊब और पूरे माहौल में अजीब उदासी और डर फैला पड़ा था। लगातार खबरें आ रही थी कि चीन के वुहान शहर से फैला कोरोना यूरोप और अमेरिका में तबाही मचा रहा है और टीवी चैनल में ये भी खबर थी कि वुहान में कोरोना की पत्नी ‘ ‘हंता’ भी जाग गई है, कहते हैं कि हंता चूहों के वायरस से फैलती है। अचानक चुहिया आकर प्याले को सूंघ सूंघ कर उसके चारों ओर घूमने लगी और उसने प्याले को उलटने का काफी। प्रयास किया। मैं चुपचाप बैठा अपनी किताब पढ़ता रहा, उसके बाद चुहिया ने बिल में घुसकर एक हजार रुपए का पुराना नोट लाकर मेरे सामने रख दिया, और सामने बैठकर मुझे बड़ी गौर से देखने लगी। मैं डर गया, सरकार द्वारा बंद किया पुराना नोट घर में रखना अपराध होता है। मुझे लगा कोई कुण्डी खट खटा रहा है,मेरा पढ़ने से ध्यान हट गया। चुहिया मेरे सामने बैठ कर प्रतीक्षा करने लगी कि मैं प्याला उठा दूं, और चूहे को मुक्त कर दूं। मैं अजीब उहापोह में था, कोरोना का डर,एक हजार वाले नोट का डर, और चूहे में बैठे हंता वायरस की कल्पना का डर……..            

मैं कुछ पढ़ भी नहीं पा रहा था न ही प्याला उठा कर चूहे को मुक्त कर पा रहा था। अचानक मेरे अन्दर से आवाज आई…..बुराई का बीज बोओगे तो बुरा फल काटोगे,,अत्याचार करोगे तो तुम पर भी अत्याचार किया जायेगा।कम से कम कोरोना से डरो।   डरकर मैंने प्याले को उठाकर चूहे को छोड़ दिया, वे दोनों उछल-कूद करते अपने बिल में चले गए।उनके इस तरह उछल-कूद कर जाने से मन प्रसन्न हो गया और अंदर बैठा डर उछलते कूदते भाग गया।

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