नदी के किनारे छोटे छोटे कंकडों को लेकर फिर नदी में फेकना और उनकी डुबुक डुबुक लहराती कई जगह कूदती चाल देखना ये भी अपने आप मे इंतज़ार का समय बिताने का एक कस्बिये साधन है। रोहित आज अपनी प्रेमिका सुधा का इंतज़ार ऐसे ही कर रहा । तय किये गए उचित समय पर रोहित […]
लघुकथा
इसे कहते हैं हिंदुस्तान
जुम्मन चाचा बङी ही बेसब्री से अपने बेटे का इंतजार कर रहे थे तभी बेल बजी। वे दौड़ कर दरवाजा की ओर बढे।दरवाजा खोलते ही चौंक पङे।दहशत का आंचल ओढे एक लङकी दीखी।घबराई हुई लङकी बोली — ” अंकल, आंटी है ? “ ” नहीं बेटा ,मैं अकेला हूं। क्या बात है, तुम बहुत घबराई […]
मासूम सी हत्या
भाई के बेटे की शादी थी मैं दस दिन पहले ही चली आई पतिदेव आफिस के कारण साथ ना आ सके । बस देहरादुन तक थी आगे गांव तक सूमो और जीप चलती हैं। दो बड़ी अटैचियाँ ड्राईवर ने ऊपर छत पर रखवा दी और जीप गाँव के लिए रवाना हो गई। रास्ते के गाँव […]
अनमोल मोती
आज उनकी सुहागरात थी ।नववधू की पोशाक में लिपटी रंजना सिकुड़ी सिमटी सी सुहाग सेज पर बैठी पति शेखर की प्रतीक्षा कर रही थी । वह आतुर सी बार-बार दरवाजे की ओर देख रही थी । मन में ना जाने कैसे-कैसे भाव उठ रहे थे । भय मिश्रित प्रसन्नता उसे उद्वेलित कर रही थी ।दिल […]